अंतिम संस्कार में मटकी फोड़ने से क्या होता है ?

हिन्दू धर्म में इंसान की मृत्यु होने पर उसका अंतिम संस्कार पूरी विधि विधान के साथ किया जाता है।

अंतिम संस्कार में मटकी फोड़ने की रस्म भी निभाई जाती है आखिर क्यों ?

पुराणों में कहा गया है कि छेद हुई मटकी को फोड़ने का तात्पर्य इंसान के जीवन चक्र से है।

जिस प्रकार मटकी से पानी तपक रहा होता है वैसे ही इंसान की आयु दिन पर दिन कम होती जाती है।

और अंत में मटकी खाली हो जाने पर फोड़ दी जाती है अर्थात इंसान वृद्ध होने के बाद मृत्यु को प्राप्त करता है।

इसके पीछे एक वैज्ञानिक कारण भी बताया गया है। चूकि प्राचीन समय में शमशान घाट नहीं होते थे।

इसलिए लोग खेतो में शवों का अंतिम संस्कार करते थे और मटकी से चारों और गीला करके वो खेतो में आग फैलने से रोकते थे।